कोरोना संकट :टेबलेट्स देने उमड़ा देश विदेश के नवोदयन्स का प्यार


एक रात में एकत्रित किये 1 लाख रूपये * विद्यालय एल्युमनीयो की क्राउड फंडिंग में रचा इतिहास 


 वर्तमान कोरोना संकट में ऑनलाइन स्टडी एक बड़ी आफत बनकर उभरी है आवासीय विद्यालयों के लिए तो दोहरी आफत । इसी चुनौती का सामना निर्धन विद्यार्थियो को जब करना पड़ रहा है तो आफत की बारिश की तरह । लेकिन नवोदय विद्यालय घटिया के निर्धन विद्यार्थियों की आफतो की खबर एक पूर्व छात्र को लगी और सोशल मीडिया पर अत्यधिक सक्रिय इस पूर्व छात्र ने क्राउड फंडिंग शुरू की और रातोंरात 15 स्मार्टफ़ोन्स की राशि देश विदेश में बैठे नवोदयन्स ने इकठ्ठा भी कर दी ।


पूर्व छात्र गौरव धाकड़ जब अपने पुरानी शिक्षाभूमि जवाहर नवोदय विद्यालय पहुंचा तो प्राचार्य किरण म्हस्के , शिक्षक अनिल माकोड़े , प्रमोद पाठक ने यह समस्या बताई कि निर्धन विद्यार्थियों को नियमित क्लास के लिए ऑनलाइन माध्यम से जोड़ना कठिन हो रहा था।  


गौरव ने विद्यालय परिसर से ही अपने कुछ बैचमेट व सीनियर से स्मार्टफ़ोन्स डोनेशन की बात कर जुगत लगाई ।सौभाग से पहले ही कॉल पर रतलाम में चिकित्सक डॉ देवेंद्र चौहान ने 2 मोबाइल ,अडानी ग्रुप में वरि. प्रबन्धक पुखराज सेठिया ने 2 स्मार्टफोन स्टील ऑथरिटी ऑफ इंडिया में प्रबन्धक निरंजन मीणा ने 2 मोबाइल देने का भरोसा दिया । फिर क्या था... गौरव ने ये बात सोशल मीडिया पर चला दी देखते ही देखते डोनेशन का रैला चल पड़ा और रात ही रात में देश विदेश में रहने वाले नवोदयन्स ने 1 लाख रुपये 3हजार की राशि देकर 15 स्मार्टफ़ोन्स का प्रबंध करवा दिया । जिसमें नवोदय विद्यालय घट्टिया के प्रथम बेच एल्युमिनी जियो एमपीसीजी हेड वीरेंद्र व्यास , प्रो. संजय चौहान ,अमित पाटीदार ,अनिल गुजराती,सुनील कैथवास ने, गजेंद्र पाटीदार , राहुल सरिया प्रत्येक ने 1 स्मार्टफोन वही हर्षकांत वाढे,नितिन बामनिया ने 1 स्मार्टफ़ोन,केयुर नीमा, साकेश बौरासी, तेजसिंह रायपुरिया, वीरेंद्र सिंह चौहान, राहुल राठौर ,वीरेंद्र कछावा समेत कई नवोदय के पूर्व विद्यार्थियो ने इस अभियान में धनसंग्रह में भागीदारी की । 


अच्छी बात ये कि इस संग्रह के 1 लाख 03 हज़ार होने में सिर्फ़ 12 घण्टे का समय लगा जो किसी विद्यालय के पूर्व छात्रों की क्राउड फंडिंग का अब तक का रिकार्ड भी है । 


*छात्राओं की बराबर भागीदारी* :- इस ख़बर में और अच्छी खबर ये रही कि नवोदय जैसी शासन की महती योजना से पढ़कर समाज मे जाने वाली छात्राएं भी छात्रो से कमतर न रहते हुए बराबरी से अपने वर्तमान विद्यार्थियो की मदद के लिए आगे आई । यूएस में रह रहीं प्रथम बेच की रूबी झा ने तुरंत 4 स्मार्टफ़ोन्स की राशि तो अकेले ही पहुचा दी वही एसबीआई में प्रबन्धक संतोष चौहान ने भी 2 स्मार्टफोन की राशि , साथ ही इंदौर में चिकित्सक मंजू परमार, निधि सिंह ने भी तुरन्त 1 स्मार्टफोन की राशि अभियान में दी तो यूके में बायोटेक्नोलॉजी में शोध कर रहीं मीनाक्षी बेलेकर ने भी 1 स्मार्टफोन की राशि तो वहीं छिंदवाड़ा के दूरस्थ चौरई में सहायक प्रोफेसर पदस्थ मधुबाला राठौर ने भी 1 स्मार्टफ़ोन की राशि तुरन्त ट्रांसफर कर दी । इस तरह पूर्व-छात्राएं पूर्व-छात्रों की बराबरी पर रहीं ।


*विज्ञान भारती पदाधिकारी ने किया टेबलेट्स वितरण का प्रस्ताव* :- विगत दिनों घट्टिया के निकट प्रवास पर आए पदाधिकारी श्री प्रजातन्त्र से जब यह विषय गौरव ने साँझा किया तो उन्होंने इस विषय में टेबलेट वितरण की बात को उचित स्थान तक पहुँचाने की पहल की है । सम्भवतः किसी कॉरपोरेट से सामाजिक सरोकार के अंतर्गत टेबलेट वितरण या फिर केंद्र के शिक्षा मंत्रालय से रेसिडेंशियल विद्यालयों के लिए टेबलेट्स प्रदान की नीति बने ऐसा सुझाव दिया है ।


 


हमारे समाचार पत्र को गौरव से चर्चा में बताया गया कि 15 स्मार्टफ़ोन्स सोमवार पूर्वान्ह 11 बजे विद्यालय परिसर में बोर्ड कक्षा के विद्यार्थियो को प्रदाय किये जायेंगे । साथ ही अन्य केम्पस में अन्य कार्यो के लिए एल्युमनी निधि निर्मित की जा रही है ।